21. नाटक के पात्र के अनुरूप पल-पल बदलती भाव-भंगिमा, स्वर का उतार-चढ़ाव देखते ही बनता था।22. जो काल्पनिक मुल्क इस नाटक के पात्र हैं उनके नाम हैं-झूठिस्तान, सब्रिस्तान और डॉलरिस्तान। 23. नाटकगृह में बैठकर ऐसे बहुत कम लोग हैं, जो नाटक के पात्र न हो जाएं। 24. परन्तु नाटक के पात्र के समान जो भूमिका ली उसका योग्यता से निर्वाह तो करना ही चाहिए। 25. नाटक में किसी गीत को दुहराने की माँग या पुकार, इस निमित्त नाटक के पात्र को बुलाना 26. नाटक के पात्र परेशान हो गए और देखा तो पीची बैठे बोदोराम जी ने ताली बजाई थी.27. पानी बरसने पर नाटक के पात्र , जो रंगमंच के अगले भाग में रहते थे, भींगते ही रहते थे। 28. वहाँ नाटक के पात्र का बँटवारा हो रहा था और ना ट क खेलना तय हो गया था. 29. अलग-अलग घोटाले अलग-अलग समय पर हुए और अलग-अलग लोग इनमें ऐसे जुड़े पाए गए जैसे किसी नाटक के पात्र हों। 30. तब कौन मित्र और शत्रु कौन? सब अपने-अपने प्रारब्ध के कारण इस बड़े नाटक के पात्र बने हुए हैं।