31. ध्यान रखने योग्य कुछ विद्गोष बातें दर्शन हेतु पूर्वी या पश्चिमी गोपुर से प्रवेश करना चाहिए। 32. दक्षिण में मदुरैई स्थित मीनाक्षी मंदिर अपने गोपुर और मुकुन्नी गणॆश के लिए बहुचर्चित रहा है। 33. यहां गोकुल जैसा बड़ा और कलात्मक गोपुर और कहीं-कहीं कुण्डलाकार बेलें, पुष्पाकृतियों आदि अनोखी छटा उत्पन्न करते हैं। 34. गोपुर के भीतर कई द्वार पार करने के पश्चात देवी चामुण्दा का दर्शन किया जा सकता है.35. इस मंदिर के 9 द्वार हैं जिनमें 4 पर ऊंचे गोपुर बने हैं (पूर्व-पश्चिम-उत्तर-दक्षिण) इनमें 7 स्तर है। 36. मदुरै एवं त्रिच्ची के गोपुर संसार को दक्षिण की कला की गाथा मौन, पर गम्भीरवाणी में सुना रहे हैं. 37. इसके आगे सोने का मुलम्मा किया हुआ एक स्तम्भ है, जिसके उत्तर में सुंदरेश्वरम् मंदिर का छोटा गोपुर है। 38. यहां गोकुल जैसा बड़ा और कलात्मक गोपुर और कहीं-कहीं कुण्डलाकार बेलें, पुष्पाकृतियों आदि अनोखी छटा उत्पन्न करते हैं। 39. मंदिर के गर्भ गृह के गोपुर पर दशावपार के सभी देवी देवताओं का बहुत ही सुंदर शिलालेखन हुआ है। 40. सन्निाधि के आगे सोने का मुलम्मा किया हुआ एक स्तम्भ है, जिसके उत्तर में सुंदरेश्वरम् मंदिर का छोटा गोपुर है।