31. सामान्यतः जीवाणु कुछ विशिष्ट पोषी फसलों पर ही रहते हैं. उदाहरण के लिए राइजोबियम मिलि-~ लोटी केवल अल्फा अल्फा पर, और रा. 32. इस पद्धति में कुछ नाइट्रोजन स्थिरीकरण जीवाणु (राइजोबियम प्रजातियां) दलहनी पौधों की जड़ों की गांठों में सहजीवी की तरह रहते हैं । 33. इसके बाद बीज को राइजोबियम व पी. एस. बी के टीके से उपचारित करने के बाद छाया में सुखाकर बिजाई करें। 34. फफूंदनाशक दवा उपचार के बाद बोने के ठीक पहले बीजों में राइजोबियम का टीका (जीवाणु खाद) लगाना बहुत लाभदयक माना गया है। 35. फफूँदनाशक दवाओं से बीजोपचार के पश्चात बीज को 5 ग्राम राइजोबियम एवं 5 ग्राम पी. एस.बी.कल्चर प्रति किलो ग्राम बीज की दर से उपचारित करें। 36. फफूँदनाशक दवाओं से बीजोपचार के पश्चात बीज को 5 ग्राम राइजोबियम एवं 5 ग्राम पी. एस.बी.कल्चर प्रति किलो ग्राम बीज की दर से उपचारित करें। 37. की दर से शोधित करने के बाद उर्द के राइजोबियम कल्चर के एक पैकेट से १ ० किग्रा. बीज का उपचार करना चाहिये। 38. अंतिम बार पलटने के समय जैव उर्वरक जैसे राइजोबियम (दलहन फसलों के लिए), पीएसबी, एजोटोबैक्टर एजोस्पाइरिलम आदि खाद में मिश्रित करें। 39. घोल ठंडा होने के बाद इस घोल में राइजोबियम कल्चर का एक पैकेट मिला दें तथा 10 किलो बीज के ऊपर से मिश्रण को मिलायें. 40. कल्चर का उपयोग फफूँदनाशक दवाओं से बीजोपचार के पश्चात बीज को 5 ग्राम राइजोबियम एवं 5 ग्राम पी. एस.बी.कल्चर प्रति किलो ग्राम बीज की दर से उपचारित करें।