41. अगर टॉन्सिलाइटिस वायरल इन्फेक्शन की वजह से होता है तो बुखार के लिए पैरासिटामॉल (क्रॉसिन, कालपोल आदि) की गोली दी जाती है। 42. पैरासिटामॉल , इबुप्रोफेन और एस्पिरिन सीधे काउन्टर पर मिलने वाली सर्दी-ज़ुकाम की कुछ दवाइयों में भी अन्य घटकों के साथ शामिल होते हैं।43. यही वजह है कि अगर आप पैरासिटामॉल लेते हैं और ज्यादा मात्रा में डिंक करते हैं तो लिवर को नुकसान हो सकता है। 44. फौरन डॉक्टर के पास नहीं जा सकते हैं तो ज्यादा से ज्यादा दो दिन पैरासिटामॉल (क्रोसिन आदि) लेकर देख सकते हैं। 45. यही वजह है कि अगर आप पैरासिटामॉल लेते हैं और ज्यादा मात्रा में डिंक करते हैं तो लिवर को नुकसान हो सकता है। 46. डेंगू तथा चिकनगुनिया दोनों ही वायरल बिमारियां है जिसमें किसी खास दवा की जरूरत नहीं होती है बल्कि सिंपल पैरासिटामॉल ही काफी है. 47. अगर टॉन्सिलाइटिस वायरल इन्फेक्शन की वजह से होता है तो बुखार के लिए पैरासिटामॉल (क्रॉसिन, कालपोल आदि) की गोली दी जाती है। 48. क्या करें दर्द हो जाए और फौरन डॉक्टर को दिखाना मुमकिन नहीं हो तो पैरासिटामॉल (क्रॉसिन आदि) या कोई दूसरी पेन किलर ले सकते हैं। 49. अगर टॉन्सिलाइटिस वायरल इन्फेक्शन की वजह से होता है तो बुखार के लिए पैरासिटामॉल (क्रॉसिन, कालपोल आदि) की गोली दी जाती है। 50. यदि आप या आपका बच्चा दर्द में है, या ज्वर है, तब आप उन्हें एक हल्का दर्दनाशक दे सकते हैं, जैसे कि पैरासिटामॉल या इबुप्रोफेन।